मेरी ये नज्म नायक तथा नायिका दोनों के लिए है..........
मधुशाला भी फीका पड़ जाये,
इतना मद है उसकी आँखों में,
हर मन को चंचल कर जाये ,
ऐसी खुशबू है उनकी सांसों में,
मिसरी भी फीकी पड़ जाए,
ऐसी मधुरता उनकी बातों में,
दूर होकर भी वो पास है मेरे,
इस तरह बसा है मेरी यादों मैं|
हर शह को मात दे जाये ,
ऐसी अदा है उनकी चालों में |
मधुशाला भी फीका पड़ जाये,
इतना मद है उसकी आँखों में.
"रजनी"
मधुशाला भी फीका पड़ जाये,
इतना मद है उसकी आँखों में,
हर मन को चंचल कर जाये ,
ऐसी खुशबू है उनकी सांसों में,
मिसरी भी फीकी पड़ जाए,
ऐसी मधुरता उनकी बातों में,
दूर होकर भी वो पास है मेरे,
इस तरह बसा है मेरी यादों मैं|
हर शह को मात दे जाये ,
ऐसी अदा है उनकी चालों में |
मधुशाला भी फीका पड़ जाये,
इतना मद है उसकी आँखों में.
"रजनी"
3 comments:
very nice madam ji
मधुशाला भी छोटा पड़ जाये,
इतना मद है उनके आँखों में|
very nice lines Mam........
sukriya amrendra ji.............
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